Thursday, December 26, 2024

मंत्री जयंत मल्लबरुआ ने किया ‘लखीपुर सह – जिले’ का उद्घाटन, कहा, इसका उद्देश्य शासन और प्रशासनिक कार्यों को नागरिकों के घरों के नजदीक लाना है

 

विधायक कौशिक राय ने मुख्यमंत्री का किया आभार व्यक्त

असम के जिला प्रशासन के भीतर ‘सह-जिलों’ की एक नई प्रशासनिक व्यवस्था की शुरुआत शुक्रवार से विभिन्न मंत्रियों द्वारा राज्य भर में 21 सह-जिलों के शुभारंभ के साथ हुई, जो शनिवार को भी जारी रहा। शनिवार को 18 सह – जिलों का उद्घाटन हुआ। इस क्रम में कछार जिले के लखीपुर भी शामिल रहा।

लखीपुर अब सह – जिले के रूप में जाना जाएगा। बराक घाटी को तीन सह – जिले मिले हैं। कछार जिले में लखीपुर जबकि करीमगंज जिले पाथरकांदी और रामकृष्ण नगर को यह दर्जा मिला है। लखीपुर सह – जिले का उद्घाटन कछार के अभिभावक मंत्री जयंत मल्लबरुआ ने किया। मंत्री ने संतुलित क्षेत्रीय विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम करार देते हुए कहा कि यह बराक और ब्रह्मपुत्र घाटियों में समान विकास के लिए असम सरकार की प्रतिबद्धता की पुष्टि करता है।

सांसद परिमल शुक्लवैद, विधायक कौशिक राय, दीपायन चक्रवर्ती, मिहिर कांति सोम सहित कछार जिला आयुक्त मृदुल यादव व अन्य की मौजूदगी रही।  

इस अवसर पर सिलचर के सांसद परिमल शुक्लवैद, लखीपुर के विधायक कौशिक राय, सिलचर के विधायक दीपायन चक्रवर्ती, उधारबंद के विधायक मिहिर कांति सोम, कछार जिला आयुक्त मृदुल, यादव, लखीपुर सह – जिला आयुक्त ध्रुवोंज्योति पाठक, एपीडीसीएल के निदेशक नित्य भूषण दे, पुलिस अधीक्षक नुमाल, महत्ता, भाजपा के प्रदेश सचिव कनाध पुरकायस्थ सहित पूर्व विधायक दिलीप पॉल, किशोर नाथ, मणिपुर विकास परिषद की चेयरमैन रीना सिंह, भाजपा चाय मोर्चा के जिला अध्यक्ष संजय ठाकुर सहित आदि की उपस्थिति रही ।

कछार के अभिभावक मंत्री जयंत मल्लबरुवा कही यह बातें।

राज्य के मंत्री अपने संबोधन में कहा कि इस लंबे समय से संजोए गए सपने को साकार करने में लखीपुर के विधायक कौशिक राय द्वारा निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका को भी स्वीकार किया। उन्होंने कहा, विधायक कौशिक राय के अथक प्रयासों ने लखीपुर को सह-जिला का दर्जा दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। क्षेत्र के भविष्य के लिए उनका विजन सराहनीय है। क्षेत्र के लिए ऐतिहासिक पल बताया और कहा, सह – जिला हो जाने से प्रशासन और जनता के बीच दूरी कम हुई।

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मुख्यमंत्री डॉ• हिमंत विश्व शर्मा के नेतृत्व में जनता के और नजदीक पहुंचने का मार्ग सहज हो गया है। यहां के लोगों को छोटे – मोटे काम के लिए सिलचर जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी । लखीपुर में ही उनकी समस्याओं का निवारण हो जाएगा । जेब खर्च भी बचेगा तथा समय का भी बचत होगा । मंत्री ने कहा कि बराक घाटी में विकास गति में तेजी आया है । शहर और ग्रामों के समान रूप से विकास हुआ । सड़क निर्माण में तेजी आया ।

स्वास्थ्य एवं शिक्षा क्षेत्र में ढांचागत विकास पर जोर दिया गया । युवाओं को बिना पैसे खर्च किए रोजगार मिल रहे । राज्य में डॉ• शर्मा और केंद्र में नरेंद्र मोदी सरकार विकास के प्रति समर्पित है । कांग्रेस सरकार समय राज्य की बदहाल स्थिति होने के आरोप लगाते हुए कहा कि वर्तमान में हर क्षेत्र में बदलाव आया है ।

विधायक कौशिक राय ने मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया

अपने भाषण में विधायक कौशिक राय ने लखीपुर की क्षमता को पहचानने और इसके विकास का समर्थन करने के लिए असम सरकार का हार्दिक आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा, आज लखीपुर के लोगों के लिए एक ऐतिहासिक दिन है। सह-जिला का दर्जा विकास के एक नए युग की शुरुआत करेगा, जिससे प्रगति के अवसर पैदा होंगे। वह अभिभावक मंत्री जयंत मल्लबरुआ और मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्वा सरमा को उनके निरंतर समर्थन के लिए आभार एवं धन्यवाद ज्ञापित किया।

सिलचर के सांसद  परिमल शुक्लबैद्य ने भी समग्र विकास के लिए असम सरकार की प्रतिबद्धता की सराहना की। उन्होंने कहा,लखीपुर को सह-जिला के रूप में स्थापित करना यह सुनिश्चित करने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है कि हर क्षेत्र का विकास हो। उन्होंने विधायक कौशिक राय को इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए उनकी कड़ी मेहनत और दृढ़ संकल्प के लिए बधाई दी। सांसद परिमल शुक्लवैद ने गौरवशाली बताते हुए कहा कि सह जिला होने से लखीपुर जनता का लाभ होगा । राज्य में 39 जिले सह जिले हो गए । कांग्रेस सरकार के समय लखीपुर विकास से उपेक्षित रहा, लेकिन आज तस्वीर बदली है। लखीपुर में जारी विकास कार्यों के लिए विधायक कौशिक राय को श्रेय दिया।

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अपने स्वागत भाषण में कछार जिले के  आयुक्त  मृदुल यादव ने लखीपुर के लिए नए सह-जिला दर्जे के प्रशासनिक महत्व को रेखांकित किया। यादव ने कहा, “इस दर्जे से प्रशासनिक दक्षता बढ़ेगी और लखीपुर के लोगों को बेहतर सेवा प्रदान करने में मदद मिलेगी। हम विभिन्न विकास योजनाओं के सफल कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए स्थानीय नेतृत्व के साथ मिलकर काम करने के लिए उत्सुक हैं।

लखीपुर को सह-जिला के रूप में स्थापित करना इस क्षेत्र के विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण क्षण है, जो इसके निवासियों के लिए जीवन की बेहतर गुणवत्ता के लिए मंच तैयार करता है। राज्य सरकार और स्थानीय प्रतिनिधियों के बीच निरंतर सहयोग से, लखीपुर प्रगति की एक नई लहर का अनुभव करने के लिए तैयार है। वहीं मंत्री उद्घाटन बाद वृक्षारोपण किया। सह जिला आयुक्त पाठक ने धन्यवाद ज्ञापित किया।

उल्लेखनीय है कि इस प्रशासनिक सुधार की घोषणा पिछले साल असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने की थी , जिसके तहत 24 सिविल उप-विभागों की मौजूदा प्रणाली को समाप्त कर दिया गया है। इसका उद्देश्य शासन और प्रशासनिक कार्यों को नागरिकों के घरों के नजदीक लाना है।

ये ‘सह-जिले’ जिलों के नीचे छोटी प्रशासनिक इकाइयों के रूप में काम करेंगे, जिनका नेतृत्व सहायक जिला आयुक्त स्तर का अधिकारी करेगा। सरकार का लक्ष्य राज्य के सभी 126 विधानसभा क्षेत्रों में ऐसे सह-जिला कार्यालय शुरू करना है। इन कार्यालयों को जो कार्य सौंपे गए हैं, उनमें भूमि राजस्व मामले, विकास और कल्याण कार्य, आबकारी और आपदा प्रबंधन कार्य शामिल हैं।

इनका सह-जिले के भीतर सभी विभागों पर प्रशासनिक नियंत्रण होगा और इनके पास मजिस्ट्रेटी अधिकार होंगे जैसे कि आयोजनों के लिए अनुमति जारी करना। ये राशन कार्ड, जाति प्रमाण पत्र और भूमि की बिक्री की अनुमति जारी करने जैसे नियमित प्रशासनिक कार्य करेंगे। शासन को लोगों के एक कदम करीब ले जाने” वाला कदम बताया गया। देश में पहली बार की गई यह अनूठी पहल जिला प्रशासन का विकेंद्रीकरण करेगी। यह कहा गया कि सह-जिला न्यूनतम सरकार, अधिकतम शासन के दृष्टिकोण के कार्यान्वयन को सुनिश्चित करेगा।

समाचार संकलन एवं संपादितयोगेश दुबे

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