- कार्यकारिणी समिति में सदस्यों की संख्या 31 से बढ़ाकर 35 कर दिया गया
बराक घाटी की प्रतिष्ठित एवं हिंदीभाषियों का सबसे बड़ा संगठन बराक हिंदी साहित्य समिति का नाम बदलकर अब असम हिंदी साहित्य समिति कर दिया गया है। यहां सिलचर हिंदी भवन में आयोजित साधारण सभा में सर्वसम्मति से समिति का पुनर्गठन हुआ।
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वरिष्ठ समाजसेवी तथा समाज के लिए समर्पित उदय शंकर गोस्वामी को नया अध्यक्ष चुना गया। इसके अलावा मूलचंद वैद कार्यकारी अध्यक्ष और प्रदीप कुमार कुर्मी को महासचिव पद की जिम्मेदारी दी गई। नई कार्यकारिणी समिति में सदस्यों की संख्या 31 से बढ़ाकर 35 कर दिया गया है। नवनिर्वाचित अध्यक्ष श्री गोस्वामी ने मंच पर उपस्थित निवर्तमान अध्यक्ष परमेश्वर लाल काबरा, पूर्व अध्यक्ष महावीर प्रसाद जैन, निवर्तमान महासचिव दुर्गेश कुर्मी, सलाहकार समिति के वरिष्ठ सदस्य हनुमान जैन के सामने कार्यकारिणी समिति की घोषणा की।
श्री गोस्वामी ने बताया कि कार्यकारी अध्यक्ष मूलचद वैद, महासचिव प्रदीप कुमार कुर्मी के अलावा तीन उपाध्यक्ष क्रमशः कन्हैया लाल सिंगोदिया, अरुण कुमार महतो और दुर्गेश कुर्मी होंगे। वहीं युगल किशोर त्रिपाठी संयुक्त सचिव, तारकेश्वर सिंह व श्रीमती बिंदु सिंह सह सचिव, सांवरमल काबरा कोषाध्यक्ष, राजेन कुंवर संगठन सचिव, योगेश दुबे प्रचार सचिव, श्रीमती कमला सोनार सांस्कृतिक एवं क्रीड़ा सचिव, प्रमोद जायसवाल को कार्यालय सचिव पद की जिम्मेदारी दी गई है।
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कार्यकारिणी समिति में शामिल नामों की घोषणा करते हुए नवनिर्वाचित अध्यक्ष उदय शंकर गोस्वामी।
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जबकि कार्यकारिणी सदस्य में परमेश्वर लाल काबरा, बाबुल नारायण कानू, वंशीलाल भाटी, डॉ. रंजन सिंह, गिरिजाशंकर अग्रवाल, सुनील कुमार सिंह, किशन लाल राठी, अजय यादव, मनोज कुमार साह, पवन राठी, श्रीमती सबिता जायसवाल, श्रीमती अपर्णा तिवारी, श्रीमती किरण त्रिपाठी, ललित जैन, राजाराम कोइरी, सुवचन ग्वाला, अमरनाथ सिंह का नाम शामिल है। इसके अतिरिक्त इंटरनल ऑडिट के लिए अनंतलाल कुर्मी का नाम शामिल किया गया। कार्यकारिणी समिति में कई अन्य नाम अगली बैठक में मंथन पश्चात् शामिल किया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि हिंदी भवन में आयोजित साधारण सभा में परमेश्वर लाल काबरा की अध्यक्षीय भाषण बाद महासचिव दुर्गेश कुर्मी ने प्रतिवेदन पाठ किया। विभिन्न विषयों पर चर्चा की गई। कोषाध्यक्ष वंशीलाल भाटी की अनुपस्थिति में प्रदीप कुमार कुर्मी ने समिति का आय व्यय ब्यौरा पढ़कर सुनाया। विभिन्न सदस्यों ने कई महत्वपूर्ण प्रस्ताव रखे गए, जिसपर विचार – विमर्श किया गया। अंत में आपसी सहमति से करताल ध्वनि से पास कर दिया गया।
नवनिर्वाचित अध्यक्ष श्री गोस्वामी ने बताया कि साधारण सभा में कई महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की गई। समिति का नाम बदलकर असम हिंदी साहित्य समिति किया गया है। कार्यकारिणी समिति में सदस्यों की संख्या 31 से बढ़कर अब 35 हो गया। हिंदी भाषियों के हितों ध्यान में रखकर समिति काम करेगी। हिंदी भाषा एवं साहित्य के संरक्षण एवं संवर्धन, प्रचार – प्रसार पर बल देगी। पूर्व समितियों बेहतर काम के लिए श्री गोस्वामी ने भूरी भूरी प्रशंसा की । उनका प्रयास रहेगा, अपनी नई कार्यकारिणी को लेकर निर्धारित लक्ष्यों के साथ समाज के लिए कुछ अच्छा करें।
योगेश दुबे